पटना। पटना जिला क्रिकेट संघ (PDCA) के सचिव सुनील कुमार उर्फ सुनील रोहित ने कहा कि सोशल मीडिया के किसी भी प्लेटफॉर्म चाहे फेसबुक ही क्यों न हो अमर्यादित और अभद्र भाषा का प्रयोग करना सरासर गलत पर है पर जो इसे लेकर खिलाड़ियों को चेतावनी दे रहे हैं वे कितने सही है जरा वे अपने गिरेवां में झाक कर तो देखें।
उन्होंने तदर्थ समिति के संयोजक राजेश कुमार, सदस्य रहबर आबदीन समेत इस समिति के हर सदस्य को खुली चुनौती देते हुए कहा कि खिलाड़ियों को धमकी देना बंद करें। उन्होंने कहा कि कौन सी तदर्थ समिति। तदर्थ समिति जब है नहीं तो कैसे संयोजक, कैसे सदस्य और अन्य पदाधिकारी।
सुनील रोहित ने कहा कि इसके पहले भी इन सबों ने खिलाड़ियों को निलंबित करने की बात कही थी। उस समय हमने इन सबों को चुनौती दी थी और आज भी खुली चुनौती दे रहा हूं। जरा खिलाड़ियों को निलंबित कर तो दिखायें। उन्होंने पांच मई का इंतजार कीजिए। 5 मई के बाद एलान-ए-जंग होगा। पटना क्रिकेट की लड़ाई सड़क पर अब लड़ी जायेंगी।
उन्होंने कहा कि तदर्थ समिति के तथाकथित संयोजक और सदस्य हमेशा केस-मुकदमा की बात करते हैं। वो करेंगे क्योंकि इन सबों अपने निजी लाइफ में हमेशा केस-मुकदमा ही किया है। इन सबों को शांति की भाषा आती ही नहीं है। उन्होंने कहा कि खिलाड़ियों पर केस-मुकदमा करना कहीं से उचित नहीं है।
सुनील रोहित ने कहा कि रहबर आबदीन का जब से पटना क्रिकेट में आगमन हुआ है तब से पटना का क्रिकेट बर्बाद हो गया है। वे कहीं से भी विश्वासपात्र के पात्र नहीं रहे। इन सबों का जनाधार है नहीं और जनता की बात करते हैं। पटना क्रिकेट जगत को बचाने के लिए इस सबों को बाहर का रास्ता दिखाना होगा।


बिहार ग्रामीण क्रिकेट लीग गवर्निंग काउंसिल के कन्वेनर ज्ञानेश्वर गौतम ने बताया कि यह लीग ग्रामीण क्षेत्र की छिपी हुई प्रतिभाओं को पहचानने और उन्हें क्रिकेट की मुख्यधारा तक पहुँचाने की दिशा में बीसीए का एक ऐतिहासिक प्रयास है। मीडिया प्रभारी रूपक कुमार और पूर्वी चंपारण मीडिया प्रभारी प्रीतेश रंजन ने जानकारी देते हुए कहा कि प्रत्येक जिले में आयोजित ट्रायल के आधार पर 16 टीमों का गठन किया जाएगा, जो नॉकआउट प्रारूप में एक-दूसरे से मुकाबला करेंगी।


