भारत के आक्रामक विकेटकीपर बल्लेबाज ऋषभ पंत ने कहा है कि उत्तराखंड में ग्लेशियर टूटने की घटना के बाद बचाव कार्यों के लिए वह अपनी मैच फीस दान देंगे और अन्य लोगों को प्रोत्साहित करेंगे कि वे आगे आएं और योगदान दें।
रविवार को उत्तराखंड के चमोली जिले के जोशीमठ में ग्लेशियर टूटने से धौली गंगा नदी में भयंकर बाढ़ आई और हिमालय के उच्च पर्वतीय क्षेत्रों में बड़े पैमाने पर तबाही मची। पंत का जन्म रुड़की में हुआ है जो राज्य के हरिद्वार जिले में आता है।
पंत ने अपने ट्विटर हैंडल पर लिखा, ‘‘उत्तराखंड में लोगों के जान गंवाने की बेहद पीड़ा है। राहत कार्यों के लिए अपनी मैच फीस दान करना चाहूंगा और साथ ही लोगों से अपील करूंगा कि वे भी मदद करें।’’
इससे पहले 23 साल के इस क्रिकेटर ने रविवार को इस प्राकृतिक आपदा में लोगों की मौत पर शोक जताया था।उन्होंने लिखा, ‘‘उत्तराखंड में बाढ़ से प्रभावित लोगों के परिवारों के प्रति शोक और संवेदनाएं हैं। उम्मीद करता हूं कि राहत कार्यों से मुश्किल में फंसे लोगों को मदद मिलेगी।’’
पंत ने एमए चिदंबरम स्टेडियम में इंग्लैंड के खिलाफ पहले टेस्ट के तीसरे दिन 91 रन की शानदार पारी खेलने के बाद यह ट्वीट किया था।
अधिकारियों के अनुसार ग्लेशियर टूटने के कारण विद्युत परियोजना में काम कर रहे 150 से अधिक मजदूर लापता हैं।




फाइनल मुकाबले के बाद आयोजित पुरस्कार वितरण समारोह में बतौर अतिथि बिहार प्लेयर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष श्री मृत्युंजय तिवारी, हरिशंकर रवि (एनएसडी स्नातक एवं नेशनल अवार्डी), छोटे लाल सिंह (सामाजिक कार्यकर्ता), विनोद कुमार सिंह (समाजसेवी), सुनील कुमार (समाजसेवी) और राकेश कुमार चंद्रवंशी (समाजसेवी) खिलाड़ियों को पुरस्कृत किया। कार्यक्रम का संचालन राष्ट्रीय उद्घोषक मृत्युंजय झा ने किया जबकि स्कोरिंग की जिम्मेदारी हिमांशु ने निभाई। अंपायर राजेश रंजन और बैजनाथ प्रसाद थे। सबों का स्वागत और धन्यवाद व्यक्त आयोजक संस्था के संस्थापक सचिव संतोष तिवारी ने किया।


